' इतिहास बना दो ' हमारे अंतर्मन के कोने को झांकता हुआ बिम्ब है जिसका प्रतिबिम्ब समाज में कहीं न कहीं व्याप्त है ..! यह मेरा ऐसा प्रयास है जो नयी विधा को भी संरक्षित करने की भरसक कोशिश करेगा .......लेकिन आपके साथ मिलकर ..तो बढ़ाएं हाथ और चलें हमारे साथ ...
मंगलवार, 3 मई 2011
गर्मी बढ़ने पर हर कोई बे-हाल हो जाता है । ऐसे में हमारा नैतिक दायित्व है की पशु - पक्षियों के लिए पीने के पानी का समुचित प्रबंध करे। यही मानव धर्म का सार है।
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